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राजस्थान में गैंगस्टर्स आनंदपाल सिंह और राजू ठेहठ में करीब 2 दशक वर्चस्व की लड़ाई चली थी. आनंदपाल के एनकाउंटर के बाद राजू ठेहठ का वर्चस्व हो गया. जेल में बंद होने के दौरान भी राजू ठेहठ के रंगदारी वसूलने के कई मामले सामने आए थे.

दिसंबर 2021 में राजू ठेहठ 8 साल बाद जमानत पर जेल से बाहर आया. जमानत पर बाहर आने के बाद वह गैंग को बढ़ाने में लग गया. उस ने अपना वर्चस्व तो बना लिया. लोगों में सक्रिय रहने के लिए वह रील बना कर सोशल मीडिया पर भी एक्टिव हो गया.

उस ने कभी अकेले बाइक राइडिंग के तो कभी नई लग्जरी कार चलाते हुए वीडियो शूट किए. अपने गनमैन और कारों के काफिले के साथ वीडियो बना कर सोशल मीडिया पर अपलोड किए.

गैंगस्टर राजू ठेहठ बीजेपी नेता प्रेम सिंह बाजौर के जिस मकान में रह रहा था, वह महेशनगर थाने की चौकी से महज 100 मीटर की दूरी पर है. बीट प्रणाली की बात करें या संदिग्धों व बदमाशों को निगरानी की, महेशनगर थाना पुलिस फेल नजर आ रही है.

राजस्थान का एक बड़ा गैंगस्टर खुलेआम काफिले और अकेले रोड पर घूमता, लेकिन थाना पुलिस तो दूर सीएसटी और डीएसटी तक को पता नहीं चला.

सोशल मीडिया पर सक्रिय राजू ठेहठ ने भरतपुर के जिला प्रमुख राजवीर, जयपुर के सांगानेर पंचायत समिति के ग्राम पंचायत पवालियां सरपंच रामराज चौधरी और चाकसू विधानसभा यूथ कांग्रेस अध्यक्ष कैलाश चौधरी के साथ फोटो शेयर कर रखी हैं.

माना जा रहा है कि राजू ठेहठ राजनीति में सक्रिय अपने परिचितों से संपर्क साध कर चर्चा करता रहता है और वह राजनीति में जल्द से जल्द सक्रिय होना चाहता है. उस के राजनीतिक लोगों के साथ मीटिंग के दौरान शूट किए गए फोटो भी चर्चा में बने रहते हैं. बदमाशों की टोली के साथ घूमने, खानेपीने की फोटो भी राजू ठेहठ ने शूट कर शेयर की हैं.

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