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जांच में यह भी मालूम हुआ कि 2611 नंबर की यह बाइक सन 2013 में खरीदी गई थी और रियाज अत्तारी ने अपनी पसंद का 2611 नंबर लेने के लिए आरटीओ में एक हजार रुपए चुकाए थे. यह आरोपियों के जेहादी जहर को दर्शाता है.

बहरहाल, कन्हैयालाल के आरोपियों के खिलाफ एनआईए ने गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम ‘यूएपीए’ के अधीन मुकदमा दर्ज कर लिया है. साथ ही हत्या के मामले में सीमा पार से जुड़े तार का पता लगाने के लिए डिजिटल सबूत की भी जांच की जा रही थी.

एनआईए ने अपनी एफआईआर संख्या आरसी 27/2022 में कत्ल की धारा के अलावा आईपीसी 452,153ए,153बी, 295ए के साथ साथ सेक्शन 16, 18 और यूएपीए की धारा 20 को भी शामिल किया है. एनआईए ने अपनी टिप्पणी में लिखा है कि इस पूरे मामले को सोचीसमझी साजिश और पूरी प्लानिंग के साथ अंजाम दिया गया.

एनआईए ने कन्हैयालाल की हत्या की साजिश में शामिल रहे 2 और आरोपियों मोहसिन और आसिफ को भी गिरफ्तार कर लिया. चारों आरोपियों को भारी सुरक्षा के बीच एनआईए कोर्ट में पेश किया, जहां से उन्हें अजमेर की हाईसिक्योरिटी जेल भेज दिया गया.

उदयपुर में टेलर कन्हैयालाल के मर्डर का खून अभी सूखा भी नहीं था कि महाराष्ट्र के अमरावती जिले में उसी के जैसी एक और खबर सामने आ गई. हत्या की यह घटना 21 जून की है, लेकिन इस का कारण भी नूपुर के समर्थन में विवादित बयान की पोस्ट ही है.

उमेश प्रह्लादराव कोल्हे (54) की अमरावती के श्याम चौक क्षेत्र के घंटाघर के पास रात करीब साढ़े 10 बजे चाकू से गरदन काट दी थी. पुलिस ने इस मामले में मुख्य आरोपी समेत 7 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है. उमेश कोल्हे एक मैडिकल स्टोर चलाते थे. वह 21 जून की रात को बेटे संकेत और बहू वैष्णवी के साथ अलगअलग बाइक पर अपने घर लौट रहे थे. तभी घात लगा कर बैठे हमलावरों ने उन की गरदन पर पीछे से चाकू से हमला कर दिया था.

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